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गुरुवार, 28 सितंबर 2017

मासूम भी काटेगा पिता के साथ सजा, पिता को आजीवन कारावास

ग्रामीण मीडिया सेण्टर| मुलताई  

पत्नी की हत्या करने वाले पति को आजीवन कारावास


आपसी विवाद में पत्नि  की कुल्हाड़ी मारकर हत्या करने वाले पति को अपर सत्र न्यायाधीश मोहन तिवारी ने आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। सरकारी वकील राजेश साबले ने बताया अभियोजन पक्ष के अनुसार रूपा बाई का विवाह ग्राम माथनी के संदीप से हुआ था। 9 और 10 जनवरी 2014 से तीन दिन पूर्व रूपा बाई की मां जमुना बाई उसे मेहमानी हेतु लेने ग्राम माथनी गई थी। संदीप ने रूपा को मां के साथ नहीं भेजा और विवाद किया। जिससे जमुना बाई गांव के दयाल पंवार के घर जाकर रुक गई। रात 2 बजे रूपा की जेठानी दयाल पंवार के घर आई और बताया संदीप और रूपा के बीच विवाद हो रहा है। संदीप पत्नि रूपा के साथ मारपीट कर रहा है। दयाल ने घर का आपसी विवाद होने से बीच में पहुंचने से इनकार कर दिया। जमुना बाई सुबह रूपा के घर पहुंची तो देखा रूपा की लाश कमरे में बिस्तर पर पड़ी थी। गर्दन पर चोट के निशान थे। बिस्तर के पास जहरीले पदार्थ की दो शीशी पड़ी थी। संदीप ने पत्नि रूपा की कुल्हाड़ी मारकर हत्या कर दी और जहरीली दवा पीकर आत्महत्या का प्रयास किया। पुलिस ने मर्ग कायम कर संदीप के खिलाफ केस दर्ज किया। न्यायाधीश मोहन तिवारी ने संदीप पंवार को प|ी की हत्या के आरोप में दोषी ठहराते हुए आजीवन कारावास और 5 हजार रुपए अर्थदंड से दंडित किया। वहीं आत्महत्या का प्रयास करने पर 1 साल के सश्रम कारावास की सजा भी सुनाई। 

पिता के साथ जेल में रहेगा मासूम आरोपी संदीप का छोटा पुत्र भी उसके साथ जेल में रहेगा। घटना के बाद आरोपी के पुत्र की देखभाल करने वाला कोई नहीं है। न्यायाधीश ने जेल वारंट में आरोपी पिता के साथ उसके मासूम पुत्र को रखने का उल्लेख किया है। 

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