जिले के ऊपरी इलाके में हुई बारिश के बाद साेमवार काे पारसडोह डैम के गेट दोपहर एक बजे खोल दिए गए। लेकिन लापरवाही की हद ताे यह है कि डैम से छाेड़े गए पानी से बैराजों के पहले हुए कटाव काे राेकने के काेई उपाय नहीं किए।
बड़ी बात ताे यह है कि पीएचई और नगरपालिका के अधिकारी ताे गेट खुलने की जानकारी नहीं हाेने का हवाला देते रहे। यहां ताे बैराजों को नुकसान से बचाना या सुरक्षा के इंतजाम करना तो दूर की बात है। जल संसाधन विभाग ने इसकी सूचना कलेक्टर, एसपी से लेकर बुरहानपुर तक दी थी, लेकिन इन विभागों के अधिकारियों को जानकारी नहीं थी।
जलसंसाधन विभाग : कलेक्टर-एसपी से लेकर बुरहानपुर तक मेल पर दी सूचना
जिले के सबसे बड़े पारसडोह डैम के दो गेट 20-20 सेंटीमीटर तक खोलकर 53 क्यूबिक मीटर प्रति सेकंड की रफ्तार से पानी छाेड़ा जा रहा था, लेकिन इसकी कोई सूचना पीएचई और नपा को नहीं थी, जबकि डैम से केवल 3 किलोमीटर दूर पीएचई का धनोरा समूह जलप्रदाय योजना का बैराज है, यहां से 20 गांवों में पानी सप्लाई होती है और 29 अगस्त को डैम से पानी छोड़े जाने के कारण बैराज के साइड में डेढ़ फीट चौड़ा और इतना ही गहरा कटाव हो चुका है।
वहीं डैम से 52 किलोमीटर दूर ताप्ती का बैराज के बगल में भी 29 अगस्त को 30 फीट गहरा कटाव हाे चुका है। वहीं 12 खेतों की मिट्टी और बोई गई फसलें भी बह चुकी थी। इसके बावजूद बैराजों को हाेने वाले संभावित नुकसान से बचाने के कोई इंतजाम नहीं हाे पाए और पानी छाेड़ दिया गया। पीएचई और नपा के आला अधिकारी डैम से पानी छोड़े जाने संबंधी कोई सूचना नहीं होने की बात कहते रहे जबकि जलसंसाधन विभाग के अधिकारी बुरहानपुर तक सूचना दे दिए जाने की बात कहते रहे हैं।
बैराज बनाने वाली ठेका कंपनी को सुधार के लिए बुला नहीं पा रही नपा, बढ़ सकता है कटाव: नपा अमृत बैराज बनाने वाली रायपुर की चंद्रा निर्माण कंस्ट्रक्शन प्राइवेट लिमिटेड कंपनी को बैतूल के बैराज का निरीक्षण और मरम्मत करवाने तक नहीं बुला पा रही है। वहीं अब डैम के गेट खुलने की जानकारी भी नहीं रख पा रही है। जबकि बैराज के बगल में 30 फीट के इस कटाव के कारण पानी बहकर कटाव को बढ़ा सकता है। यदि जल्द काम नहीं हुआ तो स्ट्रक्चर भी क्षतिग्रस्त हो सकता है। पानी स्टोर करना मुश्किल हो सकता है।
पीएचई और नपा : डैम के गेट खाेलकर पानी छाेड़ने की नहीं दी सूचना
गेट खाेलने से पहले सूचना हमने सबकाे दे दी थी
^पारसडोह डैम के गेट सोमवार दोपहर 1 बजे खोले गए थे। 20-20 सेंटीमीटर गेट खोलकर पानी निकाला गया था। इसकी सूचना हमने मेल करके सभी को दे दी थी।
-जीपी सिलावट, ईई, मुलताई डिवीजन, जलसंसाधन विभाग
डैम के गेट खाेलने की काेई जानकारी हमारे पास नहीं थी
^पारसडोह डैम के गेट खोले जाने संबंधी कोई जानकारी हमारे पास नहीं आई थी। हमें आपके माध्यम से गेट खुलने की बात पता चल रही है। पूर्व में बैराज के बगल में जो कटाव हुआ था उसे ठीक करवाने के प्रयास किए जा रहे हैं।
- पवनसुत गुप्ता, एसडीओ, पीएचई
पूर्व के कटाव की ही जानकारी है
^पारसडोह डैम के गेट खोले जाने संबंधी कोई सूचना हमें नहीं मिली थी। पूर्व में जो कटाव हुआ था, उसके बारे में जरूर जानकारी है। इसे ठीक करवाने के प्रयास किए जा रहे हैं।
- अक्षत बुंदेला, सीएमओ, नपा
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